• April 21, 2025
 डॉ राजेंद्र प्रसाद के सादगी की कायल थी दुनियां, राष्ट्रपति के तौर पर बहुत कम लेते थे वेतन

Dr Rajendra Prasad Birth Anniversary: Rajendra Prasad Birth Anniversary: देश के प्रथम राष्ट्रपति डॉ राजेंद्र प्रसाद की आज जयंती है. उनका जन्म 3 दिसंबर 1984 को बिहार के सीवान जिले के जीरादेई गांव में हुआ था. उनके पिता का नाम महादेव सहाय और माता का नाम कमलेश्वरी देवी था. भारतीय संविधान के निर्माण में उनका अहम योगदान है. वे संविधान सभा के अध्यक्ष थे. देशरत्न की उपाधि पा चुके डॉ राजेंद्र प्रसाद लोगों के बीच राजेंद्र बाबू के रूप में लोकप्रिय थे.

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26 जनवरी 1950 को जब देश का संविधान लागू हुआ तब डॉ राजेंद्र प्रसाद ने देश के पहले राष्ट्रपति के तौर पर कार्यभार संभाला. डॉ राजेंद्र प्रसाद एकमात्र ऐसे राष्ट्रपति हैं, जिन्होंने राष्ट्रपति भवन में 12 साल बिताए. उनका राष्ट्रपति काल उनके सिद्धांतों से परिभाषित था. जब उन्होंने राष्ट्रपति पद से त्यागपत्र दिया था, तब दिल्ली के रामलीला मैदान में उन्हें विदा करने के लिए लोगो की भीड़ उमड़ आई थी.

आज की तारीख में राष्ट्रपति को देश की सरकार द्वारा सबसे ज्यादा वेतन दिया जाता है. राष्ट्रपति की वर्तमान सैलरी 5 लाख रुपये प्रति महीने है, जबकि इसके अलावा भत्ते अलग से दिए जाते हैं. लेकिन पहले राष्ट्रपति के कार्यकाल में यह वेतन महज 10 हजार रुपये था और डॉ राजेंद्र प्रसाद इस वेतन का आधा हिस्सा यानी मात्र 5000 रुपये लेते थे.

डॉ प्रसाद, अपने कार्यकाल के अंत में केवल 2500 रूपये ही लेते थे. यही नहीं, वे अपने सारे काम खुद ही करते थे और अपने पास केवल एक पर्सनल कर्मचारी रखा था. सादगी पसंद इंसान राजेंद्र बाबू को तोहफों से नफरत थी. वे तो बस लोगों से दुआएं और आशीर्वाद लेना पसंद करते थे.

न केवल उनके समर्थक, बल्कि विरोधी भी उनकी सादगी और विनम्रता के कायल थे. उन्हें 1962 में भारत रत्न से सम्मानित किया गया था. उन्होंने अपने जीवन के आखिरी दिन पटना के सदाकत आश्रम में बिताए. 1962 में पत्नी के देहांत से वे टूट से गए थे और इसके एक साल के भीतर ही 28 फरवरी 1963 को वे भी दुनिया छोड़ गए. देश उन्हें एक स्वतंत्रता सेनानी, विद्वान शिक्षाविद्, देशरत्न, प्रथम राष्ट्रपति और एक सादगी पसंद इंसान के रूप में याद करता है.

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