
आखिरकार बुरी खबर आ ही गई है। जनरल बिपिन रावत नहीं रहे। वे देश के पहले चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ, यानी CDS थे। तमिलनाडु के कुन्नूर में बुधवार दोपहर करीब 12 बजकर 20 मिनट पर उनका हेलिकॉप्टर क्रैश हो गया था। उसमें जनरल रावत की पत्नी मधुलिका रावत समेत सेना के 14 लोग सवार थे। इस हादसे में 13 लोगों की मौत हो गई है, जबकि एक के घायल होने की खबर है।
पहले ये खबर आई कि हादसे में घायल हुए कुछ लोगों को गंभीर हालत में वेलिंगटन के मिलिट्री अस्पताल ले जाया गया। जहां से करीब साढ़े पांच घंटे तक खबर आती रही कि जनरल रावत और उनकी पत्नी समेत कुछ अफसर बुरी तरह घायल हुए हैं, लेकिन फिर बारी-बारी से मौत की खबर आने लगी।
शाम तक ये खबर आई कि हादसे में 13 लोगों की मौत हो गई है। सिर्फ एक व्यक्ति जिंदा है, जो पुरुष है। इसके बाद कयास लगाए जाते रहे कि ये जनरल रावत ही हैं, लेकिन देर शाम सबसे बुरी खबर आई कि जनरल रावत नहीं रहे। उनकी पत्नी मधुलिका की भी मौत हो गई।
CDS Bipin Rawat Education: डिफेंस स्टडीज में एमफिल, पीएचडी थे सीडीएस विपिन रावत, जानिए कहां से की थी पढ़ाई
बिपिन रावत का जन्म उत्तराखंड के पौड़ी गढ़वाल के हिंदू गढ़वाली राजपूत परिवार में हुआ था. उनके परिवार की कई पीढ़ियां सेना में अपनी सेवा देते आई हैं. जनरल रावत के स्कूली शिक्षा दीक्षा की बात करें तो उन्होंने देहरादून के कैंब्रियन हिल स्कूल और शिमला के सेंट एडवर्ड स्कूल से शुरुआती पढ़ाई की है. इसके बाद उन्होंने देहरादून स्थित इंडियन मिलिट्री एकेडमी ज्वाइन कर ली थी. जहां उन्हें ‘सोर्ड ऑफ ऑनर’ से भी नवाजा गया था.
जनरल रावत ने डिफेंस सर्विसेज स्टाफ कॉलेज, वेलिंगटन से भी पढ़ाई की है और अमेरिका के आर्मी कमांड और जनरल स्टाफ कॉलेज से हायर कमांड कोर्स भी किया है. इसके अलावा उनके पास मद्रास विश्वविद्यालय से डिफेंस स्टडीज में एमफिल की डिग्री भी है. साथ ही उन्होंने चौधरी चरण सिंह यूनिवर्सिटी मेरठ द्वारा डॉक्टर ऑफ फिलॉसफी से भी नवाजा गया है.
हेलिकॉप्टर में कौन-कौन सवार था?
हादसे का शिकार हुए Mi-17 V5 हेलिकॉप्टर में जनरल रावत, उनकी पत्नी के अलावा 12 लोग और थे। इनके अलावा ब्रिगेडियर एलएस लिद्दर, लेफ्टिनेंट कर्नल हरजिंदर सिंह, नायक गुरसेवक सिंह, नायक जितेंद्र कुमार, लांस नायक विवेक कुमार, लांंस नायक बी. साई तेजा और हवलदार सतपाल सवार थे। इसके अलावा 5 और लोगों के नाम सामने आने बाकी हैं।
चश्मदीद बोले- आग का गोला बन गया था हेलिकॉप्टर
चश्मदीदों के मुताबिक हादसे से पहले बहुत तेज आवाज सुनाई दी। हेलिकॉप्टर पहले पेड़ों पर गिरा। इसके बाद उसमें आग लग गई, वो आग का गोला बन गया था। एक और चश्मदीद का कहना है कि उसने जलते हुए लोगों को हेलिकॉप्टर से बाहर गिरते हुए देखा।
हादसा तब हुआ जब जनरल रावत कुन्नूर में एक कार्यक्रम में शामिल होने के बाद वापस सुलूर लौट रहे थे। हेलिपैड से 10 मिनट के दूरी पर घने जंगलों के बीच हेलिकॉप्टर क्रैश हो गया। शुरुआती जानकारी के मुताबिक हादसे की वजह खराब मौसम बताया जा रहा है।